शीत लहर से बचाव के उपाय : नागरिकों से अपील की है कि शीत-घात से बचाव के उपाय करें, क्योंकि शीत लहर की वजह से स्वास्थ्य संबंधी अनेक समस्यायें उत्पन्न हो सकती है। शीत लहर से बचाव के लिए पर्याप्त मात्रा में गर्म कपड़े रखें। शीत लहर के समय विभिन्न प्रकार की बीमारियों की संभावना अधिक बढ़ जाती है जैसे फ्लू चलना, सर्दी, खांसी एवं जुकाम आदि के लक्षण हो जाने पर स्थानीय स्वास्थ्य कार्यकर्ताओं या चिकित्सक से सम्पर्क करें। शीत लहर के दौरान नियमित रूप से गर्म पेय पीते रहे।
शीत लहर के दौरान क्या खायें और कैसे कपड़े पहनें
शीत लहर के दौरान पर्याप्त मात्रा में गर्म कपड़े जैसे – दस्ताने, टोपी, मफलर एवं जूते आदि पहने। शीतलहर के समय चुस्त कपड़े ना पहने क्योंकि ये रक्त संचार को कम करते है। इसलिए हल्के ढीले-ढाले कपड़े बाहर की तरफ एवं ऊनी कपड़े अंदर की तरफ पहने। शीत लहर के समय जितना संभव हो सके घर के अंदर ही रहें और कोशिश करें कि अति आवश्यक हो तो बाहर यात्रा करें।
कोविड-19 एवं अन्य श्वसन संक्रमण से बचने के लिए बाहर जाने पर अनिवार्य रूप से मास्क पहनें। पर्याप्त मात्रा में पोषक तत्वों से युक्त भोजन ग्रहण करें एवं शरीर की प्रतिरक्षा बनाए रखने के लिए विटामिन-सी से भरपूर फल और सब्जियां खाएं एवं नियमित रूप से गर्म तरल पदार्थ अवश्य पीयें। अत्यधिक ठंड के समय दीर्घ कालीन बीमारियों जैसे डायबटीज, उच्च रक्तचार, श्वांस संबंधी बीमारियों वाले मरीज, वृद्ध पुरूष, महिलाएं जिनकी आयु 64 वर्ष से अधिक, 6 वर्ष से कम आयु के बच्चे, गर्भवती महिलाएं आदि की ऐसी स्थिति में देखभाल करें।
अधिक ठंड पड़ने पर पर्याप्त वेंटिलेशन होने पर ही रूम हीटर का उपयोग करें एवं बंद कमरे को गर्म करने के लिए कोयले का उपयोग न करें क्योंकि यह कोयला जलने पर कार्बन मोनोऑक्साइड उत्पन्न होती है जो हमारे स्वास्थ्य के लिए खतरनाक है जिससे किसी की भी मृत्यु हो सकती है।