सिवनी । जिले के बरघाट विकासखंड अंतर्गत आने वाले ग्राम कौसमी से लगे वनक्षेत्र से आया एक भालू सोमवार को रहवासी क्षेत्र में घुस गया। स्थानीय लोगों की मौजूदगी को देखकर भालू दिन भर पीपल और महुआ के पेड़ पर बैठा रहा।
वनकर्मियों ने काफी मशक्कत के बाद उसे सोमवार रात 10 बजे पेड़ से उतारा, जिसके बाद वह वापस जंगल की ओर चला गया।
जिले के बरघाट विकासखंड अंतर्गत अंतर्गत आने वाले ग्राम कोसमी से लगे वन क्षेत्र से निकलकर सोमवार की सुबह 11 बजे एक वयोवृद्ध भालू बरघाट स्थित आईटीआई कैम्पस के पास लगे पीपल के पेड पर चढ़ गया।
इस दौरान क्षेत्रवसियों की सूचना पर वन विभाग का उडनदस्ता व नगरपरिषद का अमला मौके पर पहुंचा और छात्रों की सुरक्षा को ध्यान रखते हुए आईटीआई कैम्पस और कालेज कैम्पस खाली कराया गया।
इसी बीच जैसे ही लोगों को जानकारी मिली, दो से ढाई हजार लोग भालू को पेड़ पर आराम फरमाते हुए देखने के लिए वहां पर एकत्रित हो गये। वहीं चार-पांच घंटे पीपल के पेड़ पर आराम फरमाकर वह जब उतरा तो तीन-चार किलोमीटर दौड़ कर बरघाट के सिवनी रोड स्थित एक महुआ के पेड़ पर चढ़ गया।
इन दोनों ही जगहों पर वन विभाग की टीम ने भालू को उतारने के लिए भारी मशक्कत की। दमकल वाहन से पेडों पर पानी डाला गया। काफी मशक्कत के बाद रात करीब 10 बजे भालू पेड़ से उतरा और जंगल की ओर चला गया। इस दौरान पूरे रास्ते में वन विभाग की टीम भालू की निगरानी करती रही।
वन परिक्षेत्र अधिकारी बरघाट योगेश पटेल, वनरक्षक विवेक मिश्रा, उपवनक्षेत्रपाल बरघाट भलावी, वनरक्षक सुगंध इनवाती, वनरक्षक मुकेश तिवारी ,वनरक्षक ऐमचंद इनवाती के अथक प्रयासों से देर भालू पेड़ से उतरा, जिसे वनकर्मियों की देखरेख में सुरक्षित जंगल तक पहुंचाया गया।
कुछ लोगों ने किया भालू के साथ अनुचित व्यवहार
इस दौरान कुछ क्षेत्रवासियों ने पेड़ पर बैठे भालू पर पत्थर भी मारे जिसकी निंदा वन अमले और वन्यजीव प्रेमियों ने की है। वन्यप्राणी प्रेमियों की मानें तो भालू क्षेत्रवासियों की भीड़ को देखकर डरा महसूस कर रहा था। इस कारण वह पेड़ से नहीं उतर रहा था। जैसे ही भीड़ कम हुई, वन अमले के प्रयासों से वह पेड़ से नीचे उतर गया।