J&K: रिहा होंगे शाह फैसल,पब्लिक सेफ्टी एक्ट हटा, 10 महीने से हैं हिरासत में

By SHUBHAM SHARMA

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जम्मू कश्मीर प्रशासन ने पूर्व आईएएस अधिकारी शाह फैसल और पूर्व मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती के एक करीबी रिश्तेदार सहित पीडीपी के दो सदस्यों के खिलाफ जन सुरक्षा कानून (पीएसए) बुधवार को हटा लिया। अधिकारियों ने यह जानकारी दी। केंद्र शासित प्रदेश के गृह विभाग द्वारा जारी अलग-अलग आदेशों के मुताबिक 2010 बैच के आईएएस अधिकारी फैसल, मुफ्ती के करीबी रिश्तेदार सरताज मदनी और (मुख्यमंत्री रहने के दौरान महबूबा के राजनीतिक सलाहकार रहे) पीर मंसूर के खिलाफ पीएसए तत्काल प्रभाव से हटा दिया गया। 

फैसल के खिलाफ पीएसए 14 मई को बढ़ा दी गई थी। एक सरकारी बंगले में रखे गये मदनी के खिलाफ भी पांच मई को पीएसए की अवधि बढ़ा दी गई थी। एक विधायक हॉस्टल में रखे गये मंसूर पर लगाये गये इस कानून की अवधि 15 मई को तीन महीने के लिये बढ़ाई गई थी। बुधवार के आदेश के बाद महबूबा, नेशनल कांफ्रेंस के महासचिव अली मोहम्मद सागर, नेकां सांसद अकबर लोन के बेटे हिलाल लोन और पीडीपी के वरिष्ठ नेता नईम अख्तर अब भी हिरासत में रहेंगे। महबूबा के आधिकारिक आवास को ही उप कारागार में तब्दील कर दिया गया है। 

जम्मू कश्मीर का विशेष दर्जा खत्म किये जाने के बाद फैसल के खिलाफ इस साल फरवरी में पीएसए लगाया गया था। इस तरह, उनकी हिरासत की अवधि खत्म होने से महज कुछ ही घंटे पहले उनकी हिरासत बढ़ा दी गई। ये तीनों उन नेताओं में शामिल हैं, जिन्हें शुरूआत में एहतियाती हिरासत में लिया गया था और बाद में पांच अगस्त 2019 के घटनाक्रम के बाद उनके खिलाफ पीएसए लगा दिया गया था। उल्लेखनीय है कि पिछले साल पांच अगस्त को केंद्र सरकार ने पूर्ववर्ती राज्य जम्मू कश्मीर का विशेष दर्जा खत्म कर दिया था और इसे दो केंद्र शासित प्रदेशों (लद्दाख तथा जम्मू कश्मीर) में विभाजित कर दिया था। 

पीएसए हटाये जाने की खबर आने के तुरंत बाद पूर्व मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने ट्वीट किया, ‘‘वह तीनों नेताओं की रिहाई से खुश हैं लेकिन उन्होंने इस बारे में निराशा प्रकट की कि महबूबा, सागर और हिलाल हिरासत में बने रहेंगे। यह उचित समय है कि उन्हें मुक्त किया जाए।’’ उन्होंने अन्य की अनौपचारिक नजरबंदी की ओर भी ध्यान खींचने की कोशिश करते हुए कहा, ‘‘ …कानून का शासन सबों पर समान रूप से लागू करने और इन नेताओं को उनके घर से बाहर निकलने देने की इजाजत देने का यह समय है।’’ 

उन्होंने कहा कि नईम अख्तर और सागर सहित वरिष्ठ नेताओं को बगैर किसी देर के रिहा किया जाना चाहिए। ‘‘उन्हें हिरासत में रखे रहने का कोई औचित्य नहीं है।’’ महबूबा के ट्विटर हैंडल से कहा गया कि उन्हें इस बात से राहत मिली है कि फैसल, मदनी और पीर मंसूर हुसैन को मनमाने और अवैध तरीके से हिरासत में रखना आखिरकार रद्द कर दिया गया है। उनका ट्विटर हैंडल उनकी बेटी इल्तिजा संचालित कर रही है। 

उन्होंने कहा कि सज्जाद लोन, अली मोहम्मद सागर, हिलाल लोन, नईम अख्तर और वहीद पारा सहित राजनीतिक कैदियों तथा मियां कय्यूम और अन्य जैसे सामाजिक संस्थाओं के सदस्यों को अब भी जम्मू कश्मीर के अंदर और बाहर कैद में रखा गया है उन्होंने कहा, ‘‘इन लोगों को अवश्य ही रिहा किया जाना चाहिए।’’ उन्होंने कहा कि यह जिक्र करना जरूरी है कि कुछ को छोड़ कर ज्यादातर नेताओं को नजरबंद रखा गया है। उन्हें तत्काल रिहा किया जाना चाहिए। 

Web Title: J&K: Shah Faisal to be released, public safety act removed, detained for 10 months

SHUBHAM SHARMA

Shubham Sharma is an Indian Journalist and Media personality. He is the Director of the Khabar Arena Media & Network Private Limited , an Indian media conglomerate, and founded Khabar Satta News Website in 2017.

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