Seoni News: सिवनी जिला मुख्यालय में रक्षाबंधन के पूर्व सकलैन हैदर नामक युवक द्वारा यान खान नाम से फेसबुक पर अकाउंट बनाकर सनातन धर्म के खिलाफ एक अभद्र टिप्पणी वाली स्टोरी फेसबुक पर साझा की थी. जिसके बाद सिवनी के मयूर दुबे (Mayoor Dubey) द्वारा कोतवाली पहुंचकर इस मामले से पुलिस को अवगत कराया और साथियों द्वारा शिकायत भी थाने में दर्ज करवाई.
शिकायत दर्ज होने के बाद भी जब सकलैन हैदर की गिरफ्तारी नहीं हुई तो मयूर दुबे द्वारा थाने जाकर इस मामले में अपडेट जानना चाहा तो रक्षाबंधन त्यौहार का हवाला देते हुए पुलिस कर्मियों ने रक्षाबंधन के बाद इस मामले को हल करने की बात कही जिसके बाद मयूर दुबे द्वारा समझदारी दिखाते हुए कि त्यौहार का समय है ये सोचकर वापस आगए.
रक्षाबंधन के बाद भी जब सकलैन हैदर की गिरफ्तारी नहीं हुई तो मयूर दुबे फिर कोतवाली पहुंचे तब भी पुलिस कर्मियों द्वारा टालमटोल तरीके से मामला टाला जा रहा था लेकिन देखते ही देखते युवा हिन्दू उत्सव समिती के कार्यकर्ता भी कोतवाली पहुंच गए. 15 – 20 युवाओं को देखकर पुलिस कर्मियों ने कहा की एक टीम सकलैन हैदर की गिरफ्तारी के लिए नागपुर गयी हुई है. कल तक आरोपी को पकड़ लिया जाएगा.
जिसके बाद मयूर दुबे द्वारा पुलिस कर्मियों को बताया गया की आरोपी सकलैन हैदर सिवनी में ही है आपकी टीम नागपुर किस लिए गई है तब सभी युवाओं को मामला समझ आया कि सिवनी पुलिस द्वारा सिर्फ टाला जा रहा है.
कोतवाली के सामने हनुमान चालीसा का पाठ – 15 मिनिट में आरोपी सकलैन हैदर गिरफ्तार
तो सभी युवाओं ने एक स्वर में कहा की ठीक है आपकी टीम आरोपी सकलैन हैदर को नागपुर से पकड़कर लाए या फिर वो अभी अपने घर में है वहां से लाए जब तक उसकी गिरफ्तारी नहीं होगी हम सभी थाने के सामने बैठकर शांतिपूर्ण तरीके से हनुमान चालीसा का पाठ निरंतर करेंगे.
जिसके बाद पुलिस पर दवाब बना और तुरंत पुलिस की टीम सिवनी स्थित आरोपी सकलैन हैदर के घर पहुंची और उसे गिरफ्तार कर महज 15 से 30 मिनिट के भीतर कोतवाली लेकर पहुंची. जिसके बाद मयूर दुबे और युवा हिन्दू उत्सव समिती के सभी सदस्य थाने से वापस पहुंचे.
रात को आरोपी सकलैन हैदर को छोड़ दिया गया?
मयूर दुबे को जानकारी लगी की पुलिस कर्मियों द्वारा आरोपी सकलैन हैदर को रात के समय छोड़ दिया गया है जिस वजह से मयूर दुबे कोतवाली पहुंचे और ड्यूटी में तैनात पुलिस कर्मियों से निवेदन किया कि मुझे एक बार आरोपी सकलैन हैदर को दिखा दीजिए की वो थाने में मौजूद है या नहीं बस यही बात थी जिसकी वजह से थाने में बहस बाजी होने लगी.
सनातन धर्म पर अभद्र टिप्पणी मामला कैसे बन गया जातिवाद का मामला!
बहस बाजी के बीच सिवनी कोतवाली थाने में मयूर दुबे और आरक्षक धनराज बरकड़े के बीच हुई बहस का वीडियो सामने आया. मयूर दुबे द्वारा आरोपी सकलैन हैदर थाने में उपस्थित है या उसे छोड़ दिया गया है जाने के लिए उसे दिखाने का निवेदन किया जा रहा था जिसके बाद मयूर दुबे और आरक्षक धनराज बरकड़े के बीच बहस शुरू हो गयी.
इस घटना के बाद आरक्षक धनराज बरकड़े को लाइन अटैच कर दिया गया है हालाँकि प्राप्त जानकारी के अनुसार पुलिस कर्मी धनराज बरकड़े को लाइन अटैच करने की वजह मयूर दुबे द्वारा जिला पुलिस अधीक्षक महोदय से आरक्षक धनराज बरकड़े की शिकायत है जिसकी जांच एसपी द्वारा एडिशनल एसपी महोदय को दी जाना बताया जा रहा है. जांच किसी तरह से बाधित ना हो इस वजह से आरक्षक धनराज को लाईन अटैच किया गया. जिसके बाद से ही आदिवासी संगठन और कांग्रेस दोनों ही इस मामले में लगातार तीखी प्रतिक्रिया देते नजर आ रहे है।
आरक्षक धनराज बरकड़े और मयूर दुबे के बीच हुई बहस के वीडियो में…
आरक्षक धनराज बरकड़े और मयूर दुबे के बीच हुई बहस के वीडियो में मयूर दुबे द्वारा कहा गया कि आप मुझे ब्राह्मण होने की सजा दे रहे हो जिसके बाद आरक्षक धनराज बरकड़े ये कहते नजर आ रहे है कि क्या आप मुझे आदिवासी होने की सजा दे रहे हो और फिर आरक्षक धनराज बरकड़े मयूर दुबे का मोबाइल पकड़कर फेक देते है…
आरक्षक धनराज बरकड़े लाइन अटैच होने के बाद एक वीडियो जारी कर ये कहते नजर आ रहे है कि मयूर दुबे ने थाने में आदिवासी समाज के बारे में अपमानजनक टिप्पणी की। “हमने उन्हें अभद्रता नहीं की, बल्कि जातिसंगत बात करने से रोका। मयूर दुबे ने हमारे आदिवासी समाज के बारे में गलत बातें की और इसके बाद हमने उनका मोबाइल हटाया,” हालाँकि आरक्षक धनराज बरकड़े और मयूर दुबे के बीच हुई बहस के वीडियो में ऐसा कुछ नजर नहीं आया. जबकि आरक्षक धनराज बरकड़े ही मयूर दुबे का मोबाइल छीनकर नीचे पटकते नजर आए.
आरक्षक धनराज बरकड़े को लाइन अटैच होना और फिर मामला जातिवाद में बदलना!
आरक्षक धनराज बरकड़े के लाइन अटैच होते ही आदिवासी संगठन द्वारा लगातार ही इस मामले को जातिवाद जातिवाद कहकर नया मोड़ दे दिया गया. फिर क्या था कांग्रेस को भी मुद्दा मिल गया और कांग्रेस भी भाजपा पर हमलावर होती नजर आने लगी. सनातन धर्म पर अभद्र टिप्पणी करने का मामला तो किसी को ध्यान नहीं रहा उस पर ना तो आदिवासी संगठन कुछ बोला और ना ही कांग्रेस कुछ बोली इसके बाद से ही सभी को सिर्फ मयूर दुबे और भाजपा को घेरते नजर आ रहे है.