Saturday, April 20, 2024
Homeदेशमुख्यमंत्री आदित्यनाथ को मिलेगी राहत, केस वापस लेने का आदेश जारी

मुख्यमंत्री आदित्यनाथ को मिलेगी राहत, केस वापस लेने का आदेश जारी

लखनऊ : उत्तर प्रदेश सरकार ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के खिलाफ चल रहे केस वापस लेने के लिए कदम बढ़ाया है. उत्तर प्रदेश में संगठित अपराध पर रोकथाम के लिए योगी सरकार ने 21 दिसंबर को यूपीकोका कानून का बिल विधानसभा में पेश किया था. इस बिल के पेश होने के बीच ही यूपी सरकार ने योगी आदित्यनाथ, केन्द्रीय मंत्री, शिव प्रताप शुक्ल, विधायक शीतल पांडेय और 10 अन्य के खिलाफ 1995 के एक निषेधाज्ञा उल्लंघन मामले में धारा 188 में लगे केस को वापस लेने का आदेश जारी कर किया. ये आदेश गोरखपुर जिलाधिकारी को केस वापस लेने के लिए दिया गया है. बता दें कि यह मामला गोरखपुर के पीपीगंज पुलिस स्टेशन में दर्ज किया गया था. इस मामले में स्थानीय कोर्ट ने आरोपियों के खिलाफ गैर जमानती वारंट जारी किया था. इसके बावजूद आरोपी कोर्ट में पेश नहीं हुए थे. अभियोजन अधिकारी, गोरखपुर, बी डी मिश्रा ने कहा कि अदालत ने सभी नामों के खिलाफ एनबीडब्ल्यू का आदेश दिया था लेकिन वारंट जारी नहीं किए गए थे.

योगी सरकार ने 20 दिसंबर को गोरखपुर जिला मजिस्ट्रेट को एक पत्र भेजा था, जिसमें यह निर्देश दिया गया था कि अदालत के सामने मामला वापस लेने के लिए एक आवेदन दायर किया जाए. सरकार के आदेश में कहा गया है कि 27 अक्टूबर को जिला मजिस्ट्रेट से प्राप्त पत्र के आधार पर और मामले के तथ्यों की छानबीन के बाद, यूपी सरकार ने इस मामले को वापस लेने का निर्णय लिया. पत्र में योगी आदित्यनाथ, शिव प्रताप शुक्ला, शीतल पांडे और दस अन्य के नाम शामिल हैं.

गोरखपुर अतिरिक्त जिलाधिकारी (एडीएम)  रजनीश चंद्र ने मामले को वापस लेने की बात कही. उन्होंने कहा कि मामले को वापस लेने के लिए शासन से एक आवेदन पत्र प्राप्त हुआ है. जिसमें कहा गया है कि अभियोजन अधिकारी को उचित अदालत में केस वापसी का आवेदन पत्र दर्ज किया जाए. मुख्यमंत्री के अलावा, पत्र में केंद्रीय मंत्री शिव प्रताप शुक्ला और विधायक शीतल पांडे के नाम भी हैं.

दरअसल पीपीगंज पुलिस स्टेशन के रिकॉर्ड के अनुसार, आईपीसी की धारा 188 के अंतर्गत योगी आदित्यनाथ और 14 अन्य लोगों के खिलाफ 27 मई, 1995 को मामला दर्ज किया गया था. जिला प्रशासन द्वारा निषेधाज्ञा लागू होने के बाद पिपिगंज शहर में एक बैठक आयोजित करने के लिए दायर किया गया था. एफआईआर दर्ज कराए जाने के बाद, जिला प्रशासन ने आरोपों से संबंधित सभी दस्तावेजों को सौंपा और स्थानीय अदालत में मामला दर्ज किया. अदालत ने सभी अभियुक्तों को सम्मन जारी किया और जब उन्होंने जवाब नहीं दिया, तो न्यायालय ने एनबीडब्ल्यू के खिलाफ दो साल पहले आदेश दिया था.

एडीएम ने कहा कि मैंने राज्य सरकार के पत्र को निर्देश दिया है कि अदालत में एक वापसी आवेदन दर्ज किया जाए. राज्य सरकार द्वारा भेजे गए आवेदन में योगी आदित्यनाथ सहित 13 नाम हैं. उन्होंने कहा कि प्रशासन सर्दियों की छुट्टी के बाद अदालत में वापसी आवेदन दाखिल करेगी.

बता दें कि 21 दिसंबर को मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने विधानसभा से कहा था कि 20 हजार जनप्रतिनिधियों के ऊपर लगे केस वापस लिए जाएंगे.

SHUBHAM SHARMA
SHUBHAM SHARMAhttps://shubham.khabarsatta.com
Shubham Sharma is an Indian Journalist and Media personality. He is the Director of the Khabar Arena Media & Network Private Limited , an Indian media conglomerate, and founded Khabar Satta News Website in 2017.
RELATED ARTICLES

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here

Latest News