आसान भाषा में समझें PM MODI के संबोधन के क्या हैं मायने

SHUBHAM SHARMA
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Shubham Sharma – Indian Journalist & Media Personality | Shubham Sharma is a renowned Indian journalist and media personality. He is the Director of Khabar Arena...
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नई दिल्ली: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Narendra Modi) ने अपने संबोधन में लॉकडाउन (Lockdown) को 3 मई तक बढ़ाने का ऐलान किया है. साथ ही उन्होंने सात संकल्प भी बताए हैं, जिसके जरिये कोरोना से जंग में फतह हासिल की जा सकती है. वैसे, काफी हद तक यह पहले ही साफ हो गया था कि लॉकडाउन को मई तक बढ़ाया जा सकता है. इसकी वजह कोरोना के मामलों में लगातार हो रहा इजाफा है. देश में संक्रमितों की संख्या 10 हजार से ज्यादा हो गई है. साथ ही मृतकों के आंकड़ों में भी इजाफा हुआ है. आइये समझने की कोशिश करते हैं कि पीएम मोदी ने इन सब बातों में ध्यान में रखते हुए कोरोना से लड़ाई की तैयारी को किस तरह आगे बढ़ाया है:

कोरोना रोकने का एकमात्र तरीका लॉकडाउन
प्रधानमंत्री मोदी ने अपने भाषण में साफ किया कि कोरोना से बचाव के लिए लॉकडाउन बढ़ाना एकमात्र तरीका है. दरअसल, वायरस के संक्रमण के बढ़ते मामलों के बीच कई राज्यों ने पीएम से लॉकडाउन बढ़ाने की अपील की थी. इसके अलावा, कड़े उपायों पर अमल न करने वाले दुनिया के कई देशों का हाल भी सबके सामने है. अमेरिका में तो इस विषय पर राष्ट्रपति ट्रम्प और संक्रामक बीमारियों के शीर्ष विशेषज्ञ एंथोनी फॉसी के बीच विवाद शुरू हो गया है. लॉकडाउन का असल उद्देश्य वायरस की चेन को तोड़ना है. पीएम चाहते हैं कि 3 मई तक लोग घरों में रहें, ताकि संक्रमण को फैलने से रोका जा सके. मौजूदा स्थिति को देखते हुए यह बेहद जरुरी है.    

इकोनॉमी के बजाय जान बचाना ज्यादा जरुरी
पीएम ने स्पष्ट किया कि वर्तमान समय में उनकी प्राथमिकता इकोनॉमी से ज्यादा लोगों की जान बचाना है. दरअसल, लॉकडाउन के चलते देश की आर्थिक रफ्तार थम गई है. इसके अलावा कई उद्योगों के भविष्य और लोगों की नौकरी पर संकट मंडरा रहा है. ऐसे में सरकार पर एक दबाव यह भी है कि किस तरह आर्थिक विकास की गति को बढ़ाया, लेकिन यह लॉकडाउन में फिलहाल संभव नहीं है. हालांकि, प्रधानमंत्री ने साफ कर दिया है कि मौजूदा समय में लोगों को कोरोना के प्रहार से बचाना ज्यादा जरूरी है. लॉकडाउन बढ़ाये जाने से आने वाले दोनों में आर्थिक मोर्चे पर देश को और नुकसान उठाना पड़ सकता है. एक अनुमान के मुताबिक, इस 19 दिनों के अतिरिक्त लॉकडाउन से देश को 6 से 7 लाख करोड़ रुपए का झटका लग सकता है.   

जरुरत के मुताबिक लॉकडाउन में छूट और सख्ती दोनों 
लॉकडाउन को लेकर देशवासियों के खौफ को प्रधानमंत्री ने कुछ कम करने का प्रयास किया है. उन्होंने साफ किया है कि लॉकडाउन में छूट और सख्ती दोनों का समावेश रहेगा. उन्होंने कहा कि जिन इलाकों में कोरोना को नियंत्रित करने में सफलता मिल रही है, वहां 20 अप्रैल से छूट प्रदान की जाएगी. हालांकि, उन्होंने यह भी जोड़ा कि अगले एक हफ्ते तक पूरे देश में लॉकडाउन को पूरी सख्‍ती से लागू कर हर क्षेत्र, इलाके, थाने, कस्‍बे पर बारीकी से नजर रखी जाएगी. उसके बाद स्थिति का आकलन करने के बाद ही छूट दी जाएगी. यदि कोई नया इलाका हॉट स्‍पॉट बनता है तो वहां दी गई छूट खत्‍म की जा सकती है.

दूसरे देशों के मुकाबले भारत बेहद बेहतर स्थिति में
प्रधानमंत्री ने अपने भाषण में दूसरे देशों के मुकाबले भारत की बेहतर स्थिति का भी जिक्र किया. कोरोना के मामले सामने आते ही भारत ने तुरंत कड़े उपाय लागू करना शुरू कर दिए थे, जिसकी बदौलत इतनी बड़ी आबादी वाले देश में संक्रमितों का आंकड़ा दूसरे मुल्कों के मुकाबले काफी कम है. 12 अप्रैल को देश में कोरोना से पहली मौत हुई थी, तब से अब तक यह संख्या 300 पहुंच गई है. अब यदि स्पेन को देखें तो वहां पहली मौत के एक महीने के भीतर ही करीब 11 हजार लोगों को अपनी जान गंवानी पड़ी. वहीं, अमेरिका में यह आंकड़ा 2500 रहा था. इटली की बात करें, तो वहां कोरोना से पहली मौत 21 फरवरी को हुई थी और 21 मार्च तक 4825 लोग अपनी जान गँवा चुके थे. जर्मनी में यह संख्या 2600 और चीन में 2442 रही थी.

गरीब, दिहाड़ी मजदूरों को राहत देने की तैयारी 
लॉकडाउन का सबसे ज्यादा खामियाजा देश के गरीब तबके को उठाना पड़ा है. किसानों के सामने भी कई तरह की चुनौतियां हैं. सबसे पहली तो खेतों में खड़ी फसल की कटाई कैसे की जाए? पीएम ने अपने संबोधन में उनका भी जिक्र किया है. मोदी ने स्पष्ट किया है कि 20 अप्रैल से सीमित छूट का प्रावधान गरीबों को हो रहीं परेशानियों के मद्देनजर किया गया है. पीएम ने कहा कि उनकी सर्वोच्च प्राथमिकता गरीबों के जीवन में आई मुश्किलों को कम करना है. साथ ही उन्होंने दोहराया कि संकट की इस घड़ी में किसी को नौकरी से निकाला जाए. 

Web Title : Understand the meaning of PM MODI’s address in easy language

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Shubham Sharma – Indian Journalist & Media Personality | Shubham Sharma is a renowned Indian journalist and media personality. He is the Director of Khabar Arena Media & Network Pvt. Ltd. and the Founder of Khabar Satta, a leading news website established in 2017. With extensive experience in digital journalism, he has made a significant impact in the Indian media industry.
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