मोदी सरकार का बड़ा फैसला, किसानों के लिए ‘एक देश एक बाजार’ (Ek Desh Ek Bajar) की नीति को मंजूरी / ‘One country one market’ Ek Desh Ek Bajar’
दिल्ली : कैबिनेट बैठक में मोदी सरकार ने एक बार फिर राहत पैकेज का पिटारा खोला है। इस बैठक में किसान हित में कई फैसले लिए गए हैं। बैठक में किसानों के लिए तीन बड़े निर्णय लिए गए। इस बैठक में किसान, लघु उद्योग और रेहड़ी पटरी वालों के हित में कई ऐतिहासिक फैसले लिए गए थे।
‘एक देश एक बाजार’ (Ek Desh Ek Bajar) क्या है ?
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में हुई कैबिनेट की बैठक में एसेंशियल कमोडिटीज एक्ट में बदलाव पर फैसला लिया गया। इस अधिनियम में संशोधन को मंजूरी दी गई है। इस संशोधन के बाद अब किसान सीधे अपनी फसलें किसी भी बाजार में बेच सकेंगे जिसे ‘एक देश एक बाजार’ (Ek Desh Ek Bajar) कहा जा रहा है । अब देश में किसानों के लिए एक देश एक बाजार होगा। सरकार ने एक देश-एक बाजार की नीति को मंजूरी दी है।
‘एक देश एक बाजार’ (Ek Desh Ek Bajar) को मिली मंजूरी
बता दें कि वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने पिछले महीने 20 लाख करोड़ रुपए के राहत पैकेज की घोषणा के दौरान ही एग्रीकल्चर रिफॉर्म के सुधार की बात कही थी। पहले किसानों को सिर्फ एग्रीकल्चर प्रोडक्ट मार्केट कमेटी (APMC) की मंडियों में ही अपनी फसल बेचनी होती थी।
कैबिनेट के फैसले के बाद किसानों के सामने यह मजबूरी खत्म हो गई है। अब किसान को जहां भी उसकी फसल के ज्यादा दाम मिलेंगे, वहां जाकर अपनी फसल बेच सकता है। इसके लिए एसेंशियल कमोडिटीज एक्ट 1955 में संशोधन किया जा रहा है।
मोदी सरकार के दूसरे कार्यकाल को हाल ही में एक साल पूरा हुआ है। ऐसे में इसी सोमवार को केंद्रीय कैबिनेट की बैठक हुई थी, जिसमें MSME सेक्टर और किसानों को लेकर कुछ बड़े फैसले लिए गए थे। बता दें कि अक्सर बुधवार को ही केंद्रीय कैबिनेट की बैठक होती है।
सोमवार की बैठक में हुए थे बड़े फैसले जिसमे ‘एक देश एक बाजार’ (Ek Desh Ek Bajar) शामिल
इसी हफ्ते की शुरुआत में हुई केंद्रीय कैबिनेट की बैठक में कई बड़े फैसले लिए गए थे. इनमें केंद्र सरकार ने MSME सेक्टर की परिभाषा को बदला, साथ ही अब देश के किसान किसी भी मंडी और किसी भी राज्य में अपनी फसल बेच सकेंगे, ऐसा फैसला लिया गया है.
‘एक देश एक बाजार’ (Ek Desh Ek Bajar) इसी बारे में कुछ और जानकारी यहाँ पढ़े
कोरोना वायरस संकट के बीच आज एक बार फिर केंद्रीय कैबिनेट की बैठक हुई. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अगुवाई में बुधवार को प्रधानमंत्री आवास पर ये बैठक हुई. सुबह करीब 11 बजे शुरू हुई ये बैठक दो घंटे तक चली, जिसमें वरिष्ठ मंत्रियों ने हिस्सा लिया. केंद्रीय कैबिनेट की बैठक में दो अध्यादेशों को मंजूरी दी गई है.
इनमें आवश्यक वस्तु अधिनियम, APAC अधिनियम में संशोधन को मंजूरी दी गई है. अब किसान सीधे अपनी फसलें बेच सकेंगे, अब देश में किसानों के लिए एक देश एक बाजार होगा. इन फैसलों के बारे में शाम चार बजे प्रेस कॉन्फ्रेंस में विस्तार से जानकारी दी जाएगी.
कैबिनेट के फैसले में इसके अलावा कृषि उत्पादों के भंडारण की सीमा खत्म की गई है, सिर्फ अतिआवश्यक परिस्थिति में ऐसा किया जा सकेगा. बता दें कि 20 लाख करोड़ के पैकेज में इनका ऐलान किया गया था. बता दें कि इस हफ्ते होने वाली ये दूसरी मोदी कैबिनेट की बैठक है.
मोदी सरकार के दूसरे कार्यकाल को हाल ही में एक साल पूरा हुआ है. ऐसे में इसी सोमवार को केंद्रीय कैबिनेट की बैठक हुई थी, जिसमें MSME सेक्टर और किसानों को लेकर कुछ बड़े फैसले लिए गए थे. अब आज एक बैठक हो रही है, बता दें कि अक्सर बुधवार को ही केंद्रीय कैबिनेट की बैठक होती है
देश में कोरोना वायरस के मामले लगातार बढ़ रहे हैं और इस बीच अब अनलॉक 1 के तहत कई तरह की छूट भी दी जा रही हैं. दूसरी ओर आज ही महाराष्ट्र और गुजरात से चक्रवात तूफान निसर्ग भी टकरा रहा है, ऐसे में इस बीच केंद्रीय कैबिनेट की बैठक पर हर किसी की नज़र है.
सोमवार की बैठक में हुए थे बड़े फैसले
इसी हफ्ते की शुरुआत में हुई केंद्रीय कैबिनेट की बैठक में कई बड़े फैसले लिए गए थे. इनमें केंद्र सरकार ने MSME सेक्टर की परिभाषा को बदला, साथ ही अब देश के किसान किसी भी मंडी और किसी भी राज्य में अपनी फसल बेच सकेंगे, ऐसा फैसला लिया गया है.
बीते दिन प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने CII के कार्यक्रम में कहा था कि देश अब लॉकडाउन को भूल कर अनलॉक की ओर बढ़ चला है. पीएम ने कारोबारियों को भरोसा दिलाया था कि सरकार उनके साथ है और एक बार फिर देश की अर्थव्यवस्था को तेजी से रफ्तार दी जाएगी.