उत्तराखंड के मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत (CM Teerath Singh Rawat) ने इस्तीफा दे दिया है। चुनाव से ठीक पहले रावत ने यह कहते हुए पार्टी अध्यक्ष जेपी नड्डा को यह कहते हुए इस्तीफा सौंप दिया कि पार्टी उनकी जगह किसी और को चुने। मीडिया रिपोर्ट्स में बताया जा रहा है कि संवैधानिक संकट को देखते हुए रावत ने इस्तीफा दिया है।
चुनाव से पहले बदल सकता है उत्तराखंड का सीएम! आधी रात को गृह मंत्री शाह और BJP अध्यक्ष नड्डा से मिले CM रावत
इससे एक दिन पहले ही खबरीलाल ने बता दिया था कि भाजपा आलाकमान तीरथ को मुख्यमंत्री पद से हटा सकती है। बुधवार देर रात तीरथ सिंह रावत अचानक दिल्ली पहुंचे थे और पार्टी अध्यक्ष जेपी नड्डा व गृहमंत्री अमित शाह के साथ देर रात मीटिंग की थी।
बताया जा रहा है कि उत्तराखंड के वरिष्ठ नेता व कई विधायक तीरथ सिंह के नेतृत्व से संतुष्ट नहीं थे। तीरथ की जगह उत्तराखंड के एक वरिष्ठ नेता का नाम सामने आ रहा है।
तीरथ सिंह रावत के सामने संवैधानिक चुनौती भी थी
त्रिवेंद्र सिंह रावत के इस्तीफे के बाद तीरथ सिंह रावत ने 10 मार्च को उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पद की शपथ ली थी। संविधान के मुताबिक, पौड़ी गढ़वाल से भाजपा सांसद तीरथ को 6 महीने के भीतर विधानसभा उपचुनाव जीतना था, तभी वो सीएम रह पाते, लेकिन कोरोना के कारण उप चुनाव होना मुश्किल नजर आ रहा था।
पीपुल्स रिप्रेजेंटेशन एक्ट 1951 के मुताबिक, अगर विधानसभा का कार्यकाल एक साल से भी कम बचा है या फिर इलेक्शन कमीशन केंद्र से ये कह दे कि इतने समय में चुनाव कराना मुश्किल है, तो ऐसे में उप-चुनाव नहीं भी कराए जा सकते हैं।