नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आपातकाल की 45वीं वर्षगांठ पर कांग्रेस पर हमला बोला। पीएम नरेंद्र मोदी ने भी आपातकाल के दौरान यातनाएं सहने वाले वीरों को याद किया और उनके बलिदान को नमन किया। उनका त्याग और बलिदान देश कभी नहीं भूल पाएगा।पीएम मोदी ने अपने इस ट्वीट में दो मिनट का एक वीडियो भी साधा किया है। वहीं योगी आदित्यनाथ ने भी इसे इतिसहास का सबसे काला दिन बताया है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा, ‘आज से ठीक 45 वर्ष पहले देश पर आपातकाल थोपा गया था। उस समय भारत के लोकतंत्र की रक्षा के लिए जिन लोगों ने संघर्ष किया, यातनाएं झेलीं, उन सबको मेरा शत-शत नमन! उनका त्याग और बलिदान देश कभी नहीं भूल पाएगा। जब आपातकाल लगाया गया तो उसका विरोध सिर्फ राजनैतिक नहीं रहा। जेल के सलाखों तक आंदोलन सिमट नहीं गया था। जन-जन के मन में आक्रोश था। खोए हुए लोकतंत्र की तड़प थी। भूख का पता नहीं था।
उन्होंने कहा कि, सामान्य जीवन में लोकतंत्र का क्या वजूद है, वह तब पता चलता है जब कोई लोकतांत्रिक अधिकारों को छीन लेता है। आपाताकल में देश के सभी लोगों को लगने लगा कि उनका कुछ छीन लिया गया है, जिसका उन्होंने उपयोग नहीं किया, वह छीन गया तो उसका दर्द था। भारत गर्व से कह सकता है कि कानून-नियमों से परे लोकतंत्र हमारे संस्कार है। लोकतंत्र हमारी संस्कृति है, विरासत है। उस विरासत को लेकर हम पले-बढ़े हैं।
1975 emergency in India 45 anniversary: वो काली रात जब देश पर थोपा गया आपातकाल | वनइंडिया हिंदी वहीं गृह मंत्री अमित शाह ने कहा कि, कांग्रेस में अभी तक इमरजेंसी की सोच है। उन्होंने कहा, 45 साल पहले एक परिवार ने सत्ता के लालच में देश में आपातकाल लगा दिया। कांग्रेस के नेता हताश हो रहे हैं। देश में लोकतंत्र है लेकिन कांग्रेस में लोकतंत्र नहीं है। उन्होंने कहा, ‘कांग्रेस वर्किंग कमिटी की बैठक में कुछ नेताओं ने मुद्दे उठाए तो लोग चिल्ला पड़े। एक पार्टी प्रवक्ता को बिना सोचे-समझे बर्खास्त कर दिया गया