सिवनी, 26 नवम्बर 2025। जबलपुर में आयोजित एक साहित्य विक्रय कार्यक्रम में देवी-देवताओं के अपमानजनक उल्लेख वाली पुस्तक बेचने के विरोध में बजरंग दल के कार्यकर्ताओं पर हुए कथित हमले को लेकर सिवनी में माहौल गर्म है। घटना के विरोध में बजरंग दल और विश्व हिन्दू परिषद (VHP) ने मंगलवार को सिवनी पुलिस अधीक्षक (एसपी) को मुख्यमंत्री के नाम ज्ञापन सौंपा और दोषियों पर कड़ी कार्रवाई की मांग उठाई।
क्या हुआ था जबलपुर में?
मिली जानकारी के अनुसार, जबलपुर के मानस भवन में एक साहित्य बिक्री कार्यक्रम के दौरान एक पुस्तक में हिंदू देवी-देवताओं पर अभद्र टिप्पणी मिलने पर बजरंग दल के कार्यकर्ताओं ने इसका विरोध किया।
कार्यकर्ताओं का आरोप है कि विरोध जताते ही वहां मौजूद भीड़ ने उन पर क्रूरता पूर्वक हमला किया, जिसके वीडियो भी सामने आए हैं।
सबसे बड़ी चिंता की बात यह है कि— ➡️ हमले के 24 घंटे बाद भी किसी की गिरफ्तारी न होने पर संगठनों ने गंभीर सवाल उठाए हैं।

ज्ञापन में उठाए गए प्रमुख सवाल
ज्ञापन में VHP और बजरंग दल ने घटना को सुनियोजित बताया और कई प्रशासनिक अधिकारियों की भूमिका पर भी सवाल खड़े किए। उनकी प्रमुख मांगें इस प्रकार हैं—
ADM द्वारा परमिशन पर प्रश्नचिह्न
कार्यक्रम को अनुमति देने वाले ADM अधारताल पंकज मिश्रा की जांच और निलंबन की मांग की गई है।
संगठनों का आरोप है कि—
- कार्यक्रम का उद्देश्य हिंदू समाज में वैमनस्य फैलाना था।
- देवी-देवताओं का अपमान करने वाली किताब बेचना एक सुनियोजित षड्यंत्र था।
- इसलिए ADM पर प्रशासनिक कार्रवाई और FIR दर्ज की जाए।
थाना प्रभारी की लापरवाही का आरोप
ज्ञापन में कहा गया कि—
- घटना से पहले पुलिस को कई बार सूचित किया गया।
- लेकिन न तो थाना प्रभारी पहुंचे और न ही कोई स्टाफ।
- पुलिस की मौजूदगी में भीड़ द्वारा मोब लिंचिंग जैसा हमला किया गया, जो वीडियो में साफ दिख रहा है।
इस आधार पर थाना प्रभारी के तत्काल निलंबन और विभागीय जांच की मांग की गई है।
पुस्तक के प्रकाशक पर कार्रवाई की मांग
संगठनों ने पुस्तक के प्रकाशक ललई सिंह यादव पर भारी आरोप लगाए—
- जानबूझकर समाज में अशांति फैलाने का प्रयास
- धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुँचाने वाली सामग्री प्रकाशित करना
- कार्यक्रम के माध्यम से दंगा भड़काने की कोशिश
VHP-बजरंग दल ने प्रकाशक की तत्काल गिरफ्तारी और कठोर कार्रवाई की मांग की है।
वीडियो में दिख रहे आरोपियों की गिरफ्तारी जल्द हो
ज्ञापन के अनुसार—
“वीडियो में हमलावर साफ दिख रहे हैं, लेकिन 24 घंटे बाद भी कार्रवाई नहीं हुई।”
संगठनों ने 48 घंटे के भीतर गिरफ्तारी की मांग की है।
पूर्व मंत्री लखन घनघोरिया पर भी आरोप
ज्ञापन में पूर्व मंत्री और विधायक लखन घनघोरिया पर झूठी सूचनाएँ फैलाकर माहौल बिगाड़ने का आरोप लगाया गया है।
कहा गया कि—
- उन्होंने मीडिया में संविधान फाड़ने की झूठी बात फैलाई।
- इससे दो समुदायों के बीच संघर्ष का खतरा बढ़ सकता था।
संगठनों ने उनके खिलाफ FIR दर्ज करने की मांग भी की है।
पूरे महाकौशल में आंदोलन होगा अगर कार्रवाई नहीं हुई
ज्ञापन में चेतावनी देते हुए कहा गया कि यदि—
➡️ उचित कार्रवाई समय पर नहीं हुई,
तो बजरंग दल पूरे महाकौशल प्रांत में व्यापक आंदोलन करेगा और
➡️ प्रांत बंद का ऐलान भी किया जा सकता है।
इसकी जिम्मेदारी प्रशासन और सरकार की होगी।
स्थिति पर प्रशासन की ओर से क्या प्रतिक्रिया?
लेखन समय तक प्रशासन की ओर से कोई आधिकारिक बयान सामने नहीं आया है।
स्थानीय पुलिस मामले की जांच में लगी है, लेकिन देरी पर सवाल उठ रहे हैं।
जबलपुर की घटना ने क्षेत्र में बड़े सामाजिक और राजनीतिक विवाद का रूप ले लिया है।
सिवनी में सौंपे गए इस ज्ञापन से साफ है कि संगठनों ने इस मुद्दे को राज्य-स्तरीय आंदोलन में बदलने की चेतावनी दे दी है।
अब सबकी निगाहें प्रशासन की कार्रवाई पर टिकी हैं।
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