Rajiv Gandhi Proudyogiki Vishwavidyalaya: प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने सोमवार को भोपाल में राजीव गांधी प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय (आरजीपीवी) के निलंबित रजिस्ट्रार आरएस राजपूत के घर पर छापेमारी की।
जानकारी के मुताबिक, ईडी के अधिकारियों ने राजपूत के घर से दस्तावेज और सबूत एकत्र किए हैं और जांच जारी है। राजपूत के खिलाफ मनी लॉन्ड्रिंग की शिकायतों के बाद यह कार्रवाई की गई।
आरजीपीवी के रजिस्ट्रार के रूप में अपने कार्यकाल के दौरान, राजपूत ने कथित तौर पर सरकारी खाते से 19.48 करोड़ रुपये निजी खाते में ट्रांसफर किए। इस घोटाले में कुलपति, रजिस्ट्रार, वित्त नियंत्रक और एक बैंक मैनेजर सहित विश्वविद्यालय के उच्च पदस्थ अधिकारी शामिल थे।
इसके बाद कुलपति प्रोफेसर सुनील कुमार, पूर्व रजिस्ट्रार आरएस राजपूत, तत्कालीन वित्त नियंत्रक ऋषिकेश वर्मा और बैंक मैनेजर मयंक समेत दो अन्य के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई थी।
शुरुआती जांच में पता चला है कि आरजीपीवी के खाते से 19.48 करोड़ रुपये अनधिकृत रूप से निजी खातों में ट्रांसफर किए गए। एबीवीपी कार्यकर्ताओं के लगातार विरोध के बाद मामला प्रकाश में आया, जिसने सरकार पर कार्रवाई करने का दबाव बनाया।
राजपूत था मास्टरमाइंड
राजीव गांधी प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय (आरजीपीवी) में 19.48 करोड़ रुपये की वित्तीय अनियमितता की जांच कर रही पुलिस की विशेष जांच टीम (एसआईटी) ने पाया कि पूर्व रजिस्ट्रार आरएस राजपूत पूरे घोटाले के मास्टरमाइंड थे।
राजपूत ने अन्य आरोपियों को भी इसमें शामिल कर लिया था और वह विश्वविद्यालय से करोड़ों रुपए की हेराफेरी के लिए जिम्मेदार था।