महाराष्ट्र समेत कई प्रदेशों में एंटर होने के बाद मानसून की दोनों अरब सागर और बंगाल की खाड़ी ब्रांच कमजोर हो गई है। इस कारण मध्यप्रदेश में तय समय से 2-3 दिन के बाद ही एंट्री की संभावना है।
मौसम विभाग की जानकारी
IMD, भोपाल की सीनियर वैज्ञानिक डॉ. दिव्या ई. सुरेंद्रन ने बताया कि 10 से 14 जून के बाद मानसून स्थिर है। इससे वह कमजोर हो गया है। इसलिए मध्यप्रदेश में इंतजार करना पड़ेगा। इससे पहले प्री-मानसून की एक्टिविटी जारी है।
वर्तमान में दो साइक्लोनिक सर्कुलेशन सिस्टम एक्टिव हैं। दक्षिण हिस्से में बारिश और तेज हवा की स्थिति बनी हुई है। यहां हवा की गति भी अधिक है। उत्तर-पश्चिमी हिस्से में भी ऐसी स्थिति बन रही है। इसलिए मानसून आने के पहले आंधी, गरज-चमक और बारिश की स्थिति बनी रहेगी।
आज कई जिलों में तेज बारिश का अनुमान
मौसम विभाग ने शनिवार को कई जिलों में आंधी, बारिश और गरज-चमक की स्थिति बने रहने की संभावना जताई है। झाबुआ, अलीराजपुर, धार, बड़वानी, खरगोन, सीधी, नरसिंहपुर, छिंदवाड़ा, पांढुर्णा, सिवनी, मंडला और बालाघाट में आंधी, गरज-चमक का ऑरेंज अलर्ट है।
वहीं, भोपाल, इंदौर, उज्जैन, रतलाम, आगर-मालवा, राजगढ़, शाजापुर, देवास, खंडवा, बुरहानपुर, हरदा, बैतूल, नर्मदापुरम, रायसेन, विदिशा, सीहोर, कटनी, उमरिया, शहडोल, डिंडोरी, अनूपपुर में आंधी का यलो अलर्ट है। दूसरी ओर, रीवा, मऊगंज और सिंगरौली में गर्म हवाएं भी चल सकती हैं।
बारिश के साथ तेज गर्मी का असर भी
इससे पहले शुक्रवार को प्रदेश के कई शहरों में मौसम बदल गया। खरगोन, हरदा, इंदौर के महू, सीहोर के आष्टा, खंडवा, बैतूल समेत कई जिलों में बारिश हुई। बैतूल जिले के मुलताई में सीएम डॉ. मोहन यादव की सभा के दौरान तेज बारिश होने लगी। इससे बचने के लिए लोगों ने वहां लगाए गए होर्डिंग को सिर पर रख लिया। कुछ लोग बारिश से बचने के लिए टेंट में छिपते नजर आए। इसी दौरान वहां करंट की चपेट में आकर एक महिला और बच्चा घायल हो गए। उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया है।
इधर, गर्मी का असर भी देखने को मिला। सबसे गर्म छतरपुर का खजुराहो रहा। यहां दिन का तापमान 45.2 डिग्री रहा। छतरपुर जिले का बिजावर भी दूसरा सबसे गर्म रहा। यहां पारा 45 डिग्री दर्ज किया गया। टॉप-10 सबसे गर्म शहरों में सीधी, रीवा, सिंगरौली, सतना, नौगांव, शहडोल, दमोह और ग्वालियर शामिल रहे।
प्री-मानसून एक्टिविटी का विश्लेषण
प्री-मानसून एक्टिविटी का मतलब है मानसून से पहले की बारिश, आंधी और तूफान। वर्तमान में मध्यप्रदेश में प्री-मानसून एक्टिविटी तेज है। इस एक्टिविटी का असर कई जिलों में देखा जा रहा है, जिससे तेज हवा और बारिश हो रही है। यह स्थिति तब तक जारी रहेगी जब तक मानसून पूरी तरह से नहीं आ जाता।
आगामी मौसम की संभावना
मौसम विभाग के अनुसार, मध्यप्रदेश में अगले कुछ दिनों में मौसम की स्थिति और बदल सकती है। आंधी, तूफान और बारिश की संभावना बनी रहेगी। साथ ही, गर्म हवाओं का प्रभाव भी कुछ जिलों में देखने को मिल सकता है। इस दौरान तापमान में गिरावट और वृद्धि दोनों हो सकती है।
मानसून की तैयारी
मध्यप्रदेश में मानसून की देरी के बावजूद, लोगों को तैयार रहना चाहिए। प्री-मानसून एक्टिविटी से बचने के लिए सुरक्षित स्थानों पर रहना आवश्यक है। तेज हवा और बारिश के समय बाहर निकलने से बचें और अपने घरों को सुरक्षित रखें। बिजली के उपकरणों का सही तरीके से उपयोग करें और संभावित जोखिमों से बचें।
खेती और फसलों पर प्रभाव
मानसून की देरी का असर खेती और फसलों पर भी पड़ सकता है। किसान भाईयों को सलाह दी जाती है कि वे मौसम की जानकारी पर ध्यान दें और अपनी फसलों की सुरक्षा के लिए आवश्यक कदम उठाएं। समय पर बुवाई और सिंचाई की व्यवस्था करें ताकि फसलों को नुकसान से बचाया जा सके।