नई दिल्ली: दिल्ली सरकार ने सरकारी एवं सरकार से सहायता प्राप्त स्कूलों में 11 मई से 30 जून तक ग्रीष्मावकाश की घोषणा की है. अधिकारियों ने बुधवार को यह जानकारी दी. सरकार ने यह भी स्पष्ट किया है कि कोविड-19 संक्रमण के कारण पैदा हुई स्थिति की वजह से अवकाश संबंधी किसी भी गतिविधि के लिए छात्रों को स्कूल नहीं बुलाया जाएगा.
शिक्षा निदेशालय में एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा, “कोविड-19 महामारी के कारण स्कूलों में 23 मार्च से अध्यापन और अध्ययन संबंधी गतिविधियां निलंबित कर दी गईं. लॉकडाउन बाद में 17मई तक बढ़ा दिया गया.”
उन्होंने कहा, “सरकारी एवं सरकार से सहायता प्राप्त स्कूलों में 11 मई से 30 जून तक ग्रीष्मावकाश रहेगा. कोविड-19 वैश्विक महामारी के मद्देनजर ग्रीष्मकालीन अवकाश के दौरान किसी प्रकार की शिक्षण गतिविधि के लिए छात्रों को स्कूल नहीं बुलाया जाएगा.”
सरकार ने कोरोना वायरस को फैलने से रोकने के लिए स्कूलों को बंद करने की घोषणा की जिसके बाद देशभर में विश्वविद्यालय और स्कूल बंद कर दिए गए और परीक्षाओं को 16 मार्च को स्थगित कर दिया गया था. इसके बाद 25 मार्च से देशव्यापी बंद लागू किया गया, जिसकी अवधि तीसरे चरण में 17 मई तक के लिए बढ़ा दी गई है.
स्कूलों के बंद होने के बाद यह बहस शुरू हो गई कि पढ़ाई के नुकसान को देखते हुए क्या इस बार ग्रीष्मावकाश निलंबित नहीं कर देना चाहिए. सरकार ने भी विभिन्न पक्षकारों से सुझाव मांगे थे कि क्या दिल्ली के स्कूलों को ग्रीष्मावकाश में कक्षाएं चलानीं चाहिए.