बिलासपुर : छत्तीसगढ़ के बिलासपुर में होम्योपैथिक दवाई के सेवन एक ही परिवार के 8 लोगों की मौत हो गई है। 4 लोगों की हालत गंभीर है। बिलासपुर के मुख्य चिकित्सा अधिकारी ने बताया दवा में 91 प्रतिशत अल्कोहल था, उन्होंने कहा।
बिलासपुर सिरगिट्टी पुलिस स्टेशन जो कि कोरमी (Kormi) के पास है, मंगलवार रात परिवार या गांव में यह दवा ली गई। उनमें से आठ की घर पर ही मौत हो गई। परिजनों की मौजूदगी में उनका अंतिम संस्कार किया गया। तो 4 गंभीर हैं। उनका इलाज चल रहा है।
क्या ये लोग वास्तव में होम्योपैथिक उपचार से मर गए थे? क्या होम्योपैथिक दवा घातक हो सकती है? मुझे इस बारे में डॉक्टर की राय मिली।
होम्योपैथिक डॉक्टर साक्षी सुमरानी ने कहा, ड्रोसेरा 30 (ड्रोसेरा 30) यदि इस होम्योपैथिक दवा की शक्ति 30 से 200 है तो वह दवा स्वास्थ्य के लिए हानिकारक नहीं है। यदि इससे अधिक मात्रा में खुराक ली जाती है, तो रोगी को दस्त नहीं आते हैं, लेकिन यदि रोगी की रोग प्रतिरोधक क्षमता कम है या बीमारी बढ़ जाती है, तो दवा उल्टी का कारण बनती है या दवा को बाहर फेंक दिया जाता है। लेकिन आज तक इस दवा से मौत के कोई मामले सामने नहीं आए हैं।
तो, वरिष्ठ होम्योपैथिक चिकित्सक राजीव सोलंकी के अनुसार, ड्रोसेरा 30 (ड्रोसेरा 30) बच्चों में खांसी या कफ के लिए प्रयोग किया जाता है। उचित खुराक में सेवन करने पर यह मृत्यु का कारण नहीं बनता है। उनके अनुसार, डॉक्टर केवल डायलिसिस द्वारा इस दवा को लिखते हैं। इसलिए कोई दुष्प्रभाव होने की संभावना नहीं है।
सीएमओ के अनुसार, दवा में बड़ी मात्रा में शराब है। मामले की जांच की जा रही है और मौत का सही कारण जल्द ही सामने आएगा। सीएमओ के अनुसार, पूरे परिवार ने होम्योपैथिक दवा ड्रोसेरा 30 (Drosera 30) ली थी। यह दवा कुछ हद तक विष का काम करती है।